आज, 16 अक्टूबर, का दिन वैश्विक और भारतीय इतिहास दोनों में कई महत्वपूर्ण घटनाओं, महान व्यक्तित्वों के जन्म और कुछ दुखद क्षणों के लिए जाना जाता है। एक ओर जहां यह तारीख विश्व खाद्य दिवस के रूप में भूख और कुपोषण के खिलाफ संघर्ष का आह्वान करती है, वहीं दूसरी ओर, यह भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के एक निर्णायक मोड़ और विश्व युद्ध की विभीषिका की याद दिलाती है।
इतिहास: निर्णायक मोड़ और वैश्विक घटनाएँ
16 अक्टूबर की तारीख इतिहास में कई ऐसी घटनाओं के साथ दर्ज है, जिन्होंने दुनिया की दिशा बदली।
बंगाल का विभाजन (1905)
भारतीय इतिहास में यह दिन बंगाल के विभाजन के लिए एक दुखद तारीख है। 16 अक्टूबर 1905 को तत्कालीन वायसराय लॉर्ड कर्जन के आदेश पर बंगाल प्रेसीडेंसी का विभाजन कर दिया गया था। इस विभाजन का उद्देश्य हिंदू-मुस्लिम एकता को तोड़कर राष्ट्रवाद की बढ़ती भावना को कमजोर करना था। इसके विरोध में पूरे देश में भारी विरोध प्रदर्शन हुए, जिसे 'विरोध दिवस' के रूप में मनाया गया और यह घटना भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में एक निर्णायक मोड़ साबित हुई।
विश्व खाद्य दिवस की स्थापना (1945)
16 अक्टूबर को हर साल विश्व खाद्य दिवस के रूप में मनाया जाता है। संयुक्त राष्ट्र के खाद्य और कृषि संगठन (FAO) की स्थापना इसी दिन, 16 अक्टूबर 1945 को रोम में हुई थी। यह दिवस दुनिया भर में भुखमरी, कुपोषण और गरीबी के खिलाफ जागरूकता बढ़ाने और संघर्ष को मजबूत करने के उद्देश्य से मनाया जाता है।
परमाणु शक्ति का उदय और राजनीतिक हत्या
16 अक्टूबर 1964 को चीन ने अपने पहले परमाणु बम का सफल परीक्षण किया, जिससे वह विश्व की पांचवी परमाणु शक्ति बन गया। इससे वैश्विक भू-राजनीति में एक बड़ा बदलाव आया। इसके अलावा, 1951 में आधुनिक पाकिस्तान की स्थापना में महत्वपूर्ण योगदान देने वाले उसके पहले प्रधानमंत्री लियाकत अली खान की इसी दिन रावलपिंडी में एक सार्वजनिक सभा के दौरान गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।
अन्य प्रमुख विश्व घटनाएँ
1793: फ्रांसीसी क्रांति के दौरान फ्रांस की रानी मैरी एंटोनेट को गिलोटिन पर चढ़ाकर मृत्युदंड दिया गया।
1923: वॉल्ट डिज़्नी और उनके भाई रॉय ने डिज़्नी ब्रदर्स कार्टून स्टूडियो की स्थापना की, जो बाद में द वॉल्ट डिज़्नी कंपनी के नाम से विश्व की सबसे बड़ी मनोरंजन कंपनी बनी।
1946: द्वितीय विश्व युद्ध के बाद नूर्नबर्ग ट्रायल में दोषी पाए गए दस उच्च-रैंकिंग नाज़ी नेताओं को फांसी दी गई।
1968: भारतीय मूल के वैज्ञानिक हर गोबिन्द खुराना को चिकित्सा के क्षेत्र में उनके काम के लिए नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
1978: पोलैंड के कार्डिनल करोल वोजतिला को पोप जॉन पॉल द्वितीय के रूप में चुना गया, जो 1523 के बाद पहले गैर-इतालवी पोप बने।
जन्म: कला, राजनीति और संगीत के सितारे
16 अक्टूबर की तारीख पर कई महान व्यक्तित्वों ने जन्म लिया, जिन्होंने विभिन्न क्षेत्रों में अपनी अमिट छाप छोड़ी है।
बॉलीवुड की 'ड्रीम गर्ल'
हिंदी सिनेमा की दिग्गज अभिनेत्री और भरतनाट्यम् नृत्यांगना हेमा मालिनी का जन्म 16 अक्टूबर 1948 को हुआ था। ‘ड्रीम गर्ल’ के नाम से मशहूर हेमा मालिनी ने चार दशकों से अधिक के करियर में 150 से अधिक फिल्मों में काम किया है और बाद में राजनीति में भी सक्रिय भूमिका निभाई।
साहित्य और राजनीति के पुरोधा
ऑस्कर वाइल्ड (1854): आयरलैंड के प्रसिद्ध नाटककार, कवि और उपन्यासकार, जिन्हें उनके बुद्धिमान और विरोधाभासी लेखन शैली के लिए जाना जाता है।
डेविड बेन-गुरियन (1886): इज़राइल के संस्थापक और पहले प्रधानमंत्री, जिन्हें आधुनिक इज़राइल राज्य के निर्माण में उनकी अग्रणी भूमिका के लिए 'राष्ट्रपिता' के रूप में पूजा जाता है।
नवीन पटनायक (1948): ओडिशा के वर्तमान और सबसे लंबे समय तक सेवा करने वाले मुख्यमंत्रियों में से एक, जिन्होंने भारतीय राजनीति में अपनी सादगी और स्वच्छ छवि से अपनी अलग पहचान बनाई है।
लच्छू महाराज (1944): भारत के जाने-माने और प्रसिद्ध तबला वादक।
निधन: इतिहास के पन्नों में विराम
16 अक्टूबर के दिन कुछ महान हस्तियों ने दुनिया को अलविदा कहा:
लियाकत अली खान (1951): पाकिस्तान के पहले प्रधानमंत्री, जिनकी हत्या रावलपिंडी में कर दी गई थी।
मैरी एंटोनेट (1793): फ्रांस की अंतिम महारानी, जिन्हें फ्रांसीसी क्रांति के दौरान मृत्युदंड दिया गया।
इस तरह, 16 अक्टूबर का दिन इतिहास में बड़े राजनीतिक फैसलों, वैश्विक जागरूकता अभियानों और कला जगत के सितारों के जन्म तथा दुखद हत्याओं के साथ दर्ज है। यह अतीत के सबक, वर्तमान के संघर्ष और भविष्य की संभावनाओं को एक साथ समेटे हुए है।