अफगानिस्तान के पाकटिका प्रांत में पाकिस्तान द्वारा किए गए सैन्य हमले में तीन अफगान क्रिकेटरों की मौत की खबर ने पूरे खेल जगत को झकझोर कर रख दिया है। यह हमला उस समय हुआ जब तीनों खिलाड़ी स्थानीय स्तर पर एक दोस्ताना क्रिकेट मैच खेलने के बाद अपने गांव लौट रहे थे। घटना के बाद से अफगानिस्तान में शोक और आक्रोश दोनों का माहौल है। क्रिकेट समुदाय, खिलाड़ियों और आम नागरिकों ने इस हमले की कड़ी निंदा की है।
हमले में तीन क्रिकेटरों की मौत
अफगानिस्तान क्रिकेट बोर्ड (ACB) ने शनिवार को जारी बयान में पुष्टि की कि पाकटिका प्रांत के उरुगन इलाके में पाकिस्तान की ओर से की गई बमबारी में तीन घरेलू क्रिकेट खिलाड़ियों की मौत हो गई। बोर्ड ने इस हमले को “कायराना और मानवता-विरोधी” बताया और कहा कि पाकिस्तान के इस कदम ने अफगानिस्तान की संप्रभुता का उल्लंघन किया है। ACB ने अपने बयान में यह भी कहा कि वह आने वाले महीने में पाकिस्तान और श्रीलंका के साथ होने वाली ट्राई सीरीज़ से अपना नाम वापस ले रहा है, ताकि देश में शांति और खिलाड़ियों की सुरक्षा को प्राथमिकता दी जा सके।
गुलबदीन नैब बोले – ‘हमारी भावना नहीं तोड़ सकते’
अफगानिस्तान के वरिष्ठ ऑलराउंडर गुलबदीन नैब ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (ट्विटर) पर लिखा, “हम उरुगन, पाकटिका में हुए इस कायरतापूर्ण हमले से बेहद दुखी हैं। निर्दोष नागरिकों और साथी क्रिकेटरों की शहादत अफगानिस्तान के गर्व और स्वतंत्रता पर हमला है। लेकिन पाकिस्तान की यह निर्दयता हमारी अफगान भावना को कभी नहीं तोड़ पाएगी।” उनके इस बयान को हजारों लोगों ने साझा किया और क्रिकेट जगत ने एकजुट होकर अफगान खिलाड़ियों के प्रति संवेदना व्यक्त की।
फजलहक फारुकी का बयान – ‘यह नरसंहार है, सम्मान नहीं’
अफगानिस्तान के तेज गेंदबाज फजलहक फारुकी ने इस हमले की कड़ी आलोचना करते हुए लिखा, “जालिमों ने हमारे मासूम नागरिकों और खिलाड़ियों को निशाना बनाया है। यह एक जघन्य अपराध है, जिसे कभी माफ नहीं किया जा सकता। अल्लाह शहीदों को जन्नत में ऊँचा मुकाम दे और दोषियों को उनके कर्मों की सजा दे।” उन्होंने कहा कि खिलाड़ियों को मारना बहादुरी नहीं, बल्कि “नीचता की पराकाष्ठा” है।
मोहम्मद नबी का भावुक संदेश
अफगानिस्तान टीम के सबसे अनुभवी खिलाड़ी मोहम्मद नबी ने फेसबुक पर लिखा, “यह खबर मेरे लिए बेहद दर्दनाक है। पाकटिका में हमारे तीन युवा क्रिकेटरों का इस तरह मारा जाना पूरे अफगानिस्तान के लिए गहरी क्षति है। यह केवल क्रिकेट परिवार के लिए ही नहीं, बल्कि हर अफगानी के लिए दुख का समय है।” उन्होंने मारे गए खिलाड़ियों के परिवारों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की और सरकार से सुरक्षा व्यवस्था सुदृढ़ करने की अपील की।
अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रिया और मांग
क्रिकेट बोर्डों और अंतरराष्ट्रीय खेल संगठनों ने इस हमले पर चिंता जताई है। आईसीसी (ICC) के प्रवक्ता ने कहा कि खेल के मैदान से जुड़े लोगों को निशाना बनाना अस्वीकार्य है। कई क्रिकेट विशेषज्ञों ने पाकिस्तान से जवाबदेही की मांग की है।
क्रिकेट जगत में मातम
काबुल से लेकर कंधार तक क्रिकेट प्रेमियों में गहरा शोक है। देशभर में खिलाड़ियों की याद में मोमबत्तियां जलाई जा रही हैं। सोशल मीडिया पर #PrayForAfghanCricketers और #StopTheWar ट्रेंड कर रहे हैं। यह हमला सिर्फ तीन खिलाड़ियों की मौत नहीं, बल्कि अफगानिस्तान के उभरते क्रिकेट भविष्य पर एक गहरा घाव है। खेल, जो हमेशा लोगों को जोड़ता है, अब अफगान क्रिकेटरों के लिए संघर्ष और बलिदान का प्रतीक बन गया है।